ऋषिकेश: बदरीनाथ धाम के कपाट रविवार यानी 8 मई को सुबह 6 बजकर 15 मिनट में खुलेंगे. जबकि गाडू घड़ा तेल कलश यात्रा की तिथि 22 अप्रैल निर्धारित की गई है। नरेंद्र नगर (टिहरी) स्थित राजमहल में आज बसंत पंचमी के शुभ अवसर पर सादे धार्मिक समारोह में पूजा अर्चना और पंचांग गणना पश्चात राज परिवार, बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति, डिमरी धार्मिक केंद्रीय पंचायत की उपस्थिति में धर्माचार्यों ने पंचांग गणना के बाद बदरीनाथ धाम के कपाट खुलने की तिथि तय की। कार्यक्रम में कोरोना प्रोटोकॉल मानकों का पालन किया गया।

कपाट श्रद्धालुओं के दर्शनार्थ खोले जाएंगे। जबकि भगवान बदरी विशाल के महाअभिषेक के लिए नरेंद्रनगर के राज दरबार में 22 अप्रैल को सुहागिन महिलाओं द्वारा तिलों का तेल पिरोया जाएगा। इस दौरान गणेश जी की पूजा के साथ ही पंचांग पूजा भी हुई।बद्रीनाथ धाम के कपाट 8 मई 2021 को ब्रह्म मुहूर्त में सुबह 6 बजकर 15 मिनट पर खोले जाएंगे।

आपको बता दें कि हर साल सर्दियों में भगवान बद्रीनाथ धाम के कपाट बंद कर दिए जाते हैं। जिन्हें गर्मी के मौसम में अप्रैल-मई में फिर से खोला जाता है। जहां बीते 19 नवंबर 2020 को बद्रीनाथ धाम के कपाट बंद हुए थे जो अब 18 मई से फिर से खोले जाएंगे।

बता दें कि बसंत पंचमी की पावन पर्व पर नरेंद्रनगर स्थित राज दरबार में राजपुरोहित कृष्ण प्रसाद उनियाल द्वारा टिहरी के महाराजा मनुज्येंद्र शाह की जन्मकुंडली के आधार पर नक्षत्रों की गणना करके श्री बदरीनाथ धाम के कपाट खोलने और भगवान बदरी विशाल के महाभिषेक के लिए तिलों का तेल पिरोने की तिथियों की घोषणा महाराजा मनुज्येंद्र शाह द्वारा की जाती है।
महाराजा मनुज्येंद्र शाह ने इस मौके पर भगवान बदरी विशाल से विश्वकल्याण की कामना करते हुए सभी को शुभकामनाएं दी। इस मौके पर टिहरी की सांसद माला राज्य लक्ष्मी शाह, महाराजा की बेटी क्षीरजा अरोड़ा, बदरीनाथ धाम के रावल ईश्वरी प्रसाद, बदरी-केदार मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेन्द्र अजय समेत अन्य मौजूद रहे।

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