देहरादून: स्पीकर रहते विधानसभा में की गई नियुक्तियों को लेकर विवाद में आए काबीना मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल अब शहरी विकास विभाग में हुए 74 तबादलों को लेकर चर्चा में आ गए हैं। शहरी विकास मंत्री अग्रवाल ने स्टडी टूर पर जर्मनी जाने से पहले यह तबादले किए। मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से इन तबादलों को अग्रिम आदेश तक स्थगित करने के आदेश जारी कर दिए गए हैं।

अधिकारियों और कर्मचारियों के तबादले: शहरी विकास विभाग में शनिवार की रात 74 अधिकारियों और कर्मचारियों के तबादले किए गए। इनमें अधिशासी अधिकारी, कर अधिकारी, सफाई निरीक्षक, लेखाधिकारी, वरिष्ठ सहायक और कनिष्ठ सहायक स्तर के कर्मचारी शामिल हैं। कई अधिकारियों को एक जगह से दूसरी जगह भेजा गया था, जबकि कुछ को प्रभारी बनाकर अहम पदों पर तैनाती दी गई।

विधानसभा में बैकडोर भर्ती के मामले को लेकर चर्चाओं का केंद्र बने शहरी विकास मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल शहरी विकास विभाग में 74 तबादले करने के बाद रविवार को जर्मनी के स्टडी टूर पर रवाना हो गए। अग्रवाल 25 सितंबर तक वापस आएंगे।

कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल के कार्यालय की ओर से जारी सूचना के अनुसार, इस स्टडी टूर का मकसद उत्तराखंड और जर्मनी के बीच सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट की जानकारी साझा करना है। इस दौरान गंगा नदी में कूड़ा प्रवाह रोकने के तरीकों पर भी विचार किया जाएगा। बताया गया कि अध्ययन के लिए गए दल पर होने वाला पूरा खर्च सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट पर काम करने वाली कंपनी ‘जीआईजेड’ वहन करेगी।

 

अग्रवाल के साथ जर्मनी के लिए रवाना हुए दल में अपर मुख्य सचिव आनंदवर्धन, निदेशक शहरी विकास नवनीत पांडे, अपर निदेशक अशोक कुमार पांडे, मुख्य नगर आयुक्त नगर निगम हरिद्वार दयानंद सरस्वती, मुख्य नगर आयुक्त, नगर निगम, ऋषिकेश राहुल गोयल शामिल हैं।

इस बीच राज्य कर विभाग की अधिकारी नीतिका नारंग की शहरी विकास विभाग में प्रतिनियुक्ति की फाइल भी सरपट दौड़ रही है। हालांकि कार्मिक विभाग ने उन्हें प्रतिनियुक्ति पर एक पद का लाभ देने के बजाय मूल सेवा के मर्जर पर ही विभाग में लेने की बात कही है। इस मामले की पत्रावली शहरी विकास से लेकर कार्मिक विभाग के बीच तेजी से दौड़ रही है।

अग्रवाल बीते एक महीने से चर्चाओं में बने हैं। विस में बैकडोर भर्तियों की स्वीकारोक्ति के बाद से वो लगातार विपक्ष और बेरोजगार युवाओं के निशाने पर हैं। उनके बयान के बाद से ही राज्य में बैकडोर भर्ती का विवाद जोर पकड़ा,जिसकी जद में विधानसभा के ज्यादातर कर्मचारी आ गए हैं। इस मामले में विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी की ओर से नियुक्त जांच कमेटी की रिपोर्ट अब कभी भी आ सकती है।

इसी बैकडोर विवाद के चलते शनिवार को टिहरी दौरे में प्रेमचंद को काले झंडे तक दिखाए गए। अब उनके किए तबादलों पर रोक के साथ ही एक और विवाद शुरू हो गया है। इस संबंध में प्रेमचंद खुलकर तो कुछ नहीं कह रहे पर इशारों में जरूर भाव व्यक्त कर रहे हैं। इधर, विधानसभा में भर्तियों के बाद अब तबादलों को लेकर संभावित विवाद को देखते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने उन पर रोक लगा दी है।

काबीना मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल रविवार दोपहर एक बजे विदेश रवाना हुए तो दूसरी तरफ मुख्यमंत्री कार्यालय से शहरी विकास विभाग में किए गए तबादलों पर रोक का फरमान आ गया। अनुसचिव अनिल काला की ओर से तबादलों पर रोक के आदेश जारी किए गए हैं। प्रभारी सचिव दीपेंद्र चौधरी इस प्रकरण पर बयान देने के लिए उपलब्ध नहीं हो पाए। इस बीच यह भी कहा जा रहा है कि ट्रांसफर ऐक्ट को लेकर पहले से चल रहे विवादों के बीच इन तबादलों से नया विवाद खड़ा हो रहा था।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here