ऋषिकेश: अंकिता भंडारी मर्डर केस में पटवारी वैभव प्रताप को एसआईटी ने गिरफ्तार कर लिया है। पूछताछ में वह एसआईटी के सवालों का सही से जवाब नहीं दे पाया। लिहाजा अब पटवारी को गिरफ्तार करने के बाद उम्मीद है कि वह रिमांड में आने के बाद सच बोलेगा। पटवारी वैभव प्रताप को शुक्रवार को एसआईटी ने हिरासत में लिया था। उससे कल भी पूछताछ हुई थी।

अंकिता भंडारी (Ankita Bhandari) हत्याकांड में पटवारी वैभव प्रताप (Vaibhav Pratap) को एसआईआईटी ने गिरफ्तार कर लिया है। उसकी भूमिका संदिग्ध मिलने पर उसे गिरफ्तार किया गया है। इससे पहले पटवारी वैभव प्रताप को अंकिता मर्डर केस में लापरवाही बरतने पर सस्‍पेंड कर दिया गया था। सीएम पुष्‍कर सिंह धामी के आदेश के बाद इस मामले की जांच एसआईटी कर रही है. आईपीएस पी रेणुका देवी एसआईटी टीम का नेतृत्व कर रही हैं। ऐसी संभावना है कि जल्‍द ही कुछ और लोग भी अरेस्‍ट किए जा सकते हैं।

अंकिता भंडारी मर्डर केस में अभी तक की जांच में यह बात सामने आई कि अंकिता के पिता जब सबसे पहले राजस्व पुलिस व्यवस्था के स्थानीय पटवारी और रेवेन्यू इंस्पेक्टर वैभव प्रताप सिंह के पास गुमशुदगदी की रिपोर्ट दर्ज कराने पहुंचे, तो उनकी सुनवाई नहीं हुई थी। शिकायत पर रिपोर्ट तक दर्ज नहीं की गई थी।

अंकिता भंडारी मर्डर केस में पटवारी वैभव प्रताप ने बताया था कि बीती 19 सितंबर की रात को दो बजे पुलकित आर्य (Pulkit Arya) उसके पास आया था। पुलिकत आर्य ने उसे अंकिता के गायब होने की खबर दी थी। इस पर उसने यह कहकर एफआईआर दर्ज नहीं की कि लापता होने के 24 घंटे बाद ही रिपोर्ट दर्ज की जा सकती है। वैभव प्रताप ने बताया कि उन्होंने पुलकित को सलाह दी कि वह इस बारे में अंकिता के पिता को सूचित करे। हालांकि, उसने पहचान के लिए अंकिता का फोटो या फिर आधार कार्ड मांगा था। इसके बाद वह तहसीलदार से अप्रूवल मिलने के बाद छुट्टी पर चला गया था।

 

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