देहरादून: उत्तराखंड के कई क्षेत्र ऐसे हैं जो आज भी पानी के लिए तरस रहे हैं और कई क्षेत्रों में लोग लंबे समय से आंदोलनरत भी हैं। तो कई जगह सरकार के द्वारा पानी पहुंचाने का काम भी किया जा रहा है जिसके लिए पाइप लाइन बिछाई जा रही है लेकिन विभाग की लापरवाही के चलते अब ग्रामीणों के बीच एक समस्या और खड़ी हो गई है। देहरादून शहर से सटे रायपुर ब्लॉक के द्वारा धारकोट क्षेत्र में नलों में पानी आए बिना ही लोगों के घर बिल पहुंच रहे हैं। एक करोड़ रुपये की लागत से पेयजल लाइनें भी बिछाई गई हैं। घरों में नल भी लगे हैं, लेकिन पानी नहीं पहुंचा। शनिवार को जिला पंचायत की बोर्ड बैठक में यह मुद्दा खूब गर्माया। बोर्ड बैठक में विकास कार्यों के लिए करीब 130 करोड़ का बजट पारित किया गया।

शनिवार को गांधी रोड स्थित जिला पंचायत सभागार में अध्यक्ष मधु चौहान की अध्यक्षता में बोर्ड बैठक आयोजित हुई। इसमें पेयजल, विद्युत, स्वास्थ्य, सड़क, शिक्षा, पेंशन समेत संबंधित कार्यों की समीक्षा की गई। रायपुर ब्लॉक के द्वारा सीट से जिला पंचायत सदस्य अश्वनी बहुगुणा ने हर घर जल योजना पर सवाल खड़े करते हुए मुद्दा उठाया कि उनके क्षेत्र में नलों में बिना पानी आये ही बिल भेजे जा रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि विभाग नाकामी छिपाने के लिए पानी का टैंकर भेज रहा है। मुद्दा उठने पर जिला पंचायत अध्यक्ष मधु चौहान ने जल संस्थान, पेयजल निगम को जिला पंचायत सदस्य के साथ संयुक्त निरीक्षण करने को कहा है।
बैठक में मनरेगा के तहत देहरदून जिले के लिए वर्ष 2022-23 के लिए 58 करोड़ रुपये का बजट पास किया गया, जबकि अन्य विकास कार्यों के लिए 72 करोड़ का बजट पारित किया गया है। पिछले साल यह बजट 71 करोड़ था। इस साल एक करोड़ रुपये की बढ़ोतरी की गई है। पिछले साल खर्च हुए 71 करोड़ रुपये के बजट का हिसाब भी बैठक में पेश किया गया। इससे पहले बैठक की शुरुआत में सीडीएस बिपिन रावत और पूर्व विधानसभा अध्यक्ष उपं विधायक हरबंस कपूर को श्रद्धांजलि के साथ हुई।

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